नमस्ते साथियों,
मैं आज आप सभी के साथ कलस्टर मीटिंग का अनुभव साझा कर रही हूँ। हमारे कलस्टर का नाम 'अवसरों की दुनिया’ हैं और यह कलस्टर मीटिंग अरहरा पाटम मंदिर के पास एक स्कूल मे हुई थी। हमारे कलस्टर मे कुल 16 दीदी थी, जिसमें से 12 एडु-लीडर्स थी।
हमारी कलस्टर मीटिंग 10 बजे से शुरू हुई और सभी साथी समय पर पहुँच गये थे। ठंड बहुत ज्यादा होने के कारण एक-दो साथी थोड़ा लेट से पहुँचे। फिर सभी साथी एक जगह पर बैठ गये और हमने माइंडफुलनेस और एक गतिविधि की।
फिर हमने अपने पिछले महीने के लक्ष्य (goal), “लाइब्रेरी के लिए जगह खोजना” पर बात की। ये लक्ष्य कितना पूरा हो पाया, किसे क्या-क्या चुनौतियाँ आयीं, यह सब जाना। उदयपुर की एडु-लीडर्स ने लाइब्रेरी के लिए स्थान खोज लिया था और फरवरी में लाइब्रेरी का उद्घाटन करने का प्लान है।
हमने अगले महीने का गोल भी यही रखा कि “लाइब्रेरी के लिए जगह खोजना”। क्योंकि पिछले महीने का गोल अधिकतर लोगों का पूरा नहीं हो पाया है।
इसके बाद हमने दो समूह बनाये और बढ़ते कदम पर बात की। अपना-अपना बढ़ते कदम जो साथी बना कर ले गये थे उन्होंने सभी के साथ साझा किया। एक-दूसरे को फीडबैक भी दिया और खुद के फीडबैक पर भी विचार किया।
हमलोग जो बढ़ते कदम बनाते हैं तो उसे हम कितना स्मार्ट बना पाए? और कहाँ सुधार की जरूरत है? वो सब फीडबैक एक-दूसरे से मिलता है। आज सभी सदस्य अपना बढ़ते कदम बना कर आयी थी और सभी ने साझा भी किया कि हर बार की तरह इस बार भी यह बहुत अच्छा लगा।
उसके बाद मोना दीदी ने स्कूल में ही लाइब्रेरी के लिए एक जगह दिखायी। जगह देखकर हम मोना दीदी के घर गए। सभी ने भर-पेट खाना खाया। सभी को बहुत अच्छा लगा, बहुत मज़ा आया। हमने दीदी को धन्यवाद किया और अपने घर लौट आये।
सोनम खातून
बैच- 10 (A), मुँगेर
No comments:
Post a Comment